सीबीआई की विशेष अदालत ने पार्थ चटर्जी की जमानत याचिका खारिज की केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) की एक विशेष अदालत ने पश्चिम बंगाल के पूर्व मंत्री पार्थ चटर्जी की जमानत याचिका बृहस्पतिवार को खारिज कर दी और उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। अदालत में पेश किए जाने के दौरान, चटर्जी ने एक जनवरी को पार्टी के 25वें स्थापना दिवस से पहले तृणमूल कांग्रेस के लिए और अधिक सफलता की कामना की। उन्होंने अपने बेहाला पश्चिम विधानसभा क्षेत्र के निवासियों को भी नववर्ष की शुभकामनाएं दीं। स्कूल नौकरी घोटाले के संबंध में पहले के एक आदेश पर उनकी न्यायिक रिमांड की अवधि पूरी होने के बाद उन्हें अलीपुर की अदालत में पेश किया गया। चटर्जी की जमानत अर्जी को खारिज करते हुए, अदालत ने उन्हें सीबीआई की एक याचिका पर 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया, जो स्कूल सेवा आयोग (एसएससी) के शिक्षण और गैर-शिक्षण कर्मचारियों की भर्ती घोटाले की जांच कर रही है। अदालत ने निर्देश दिया कि उन्हें पांच जनवरी को फिर से पेश किया जाए। जमानत का अनुरोध करते हुए, उनके वकीलों ने कहा कि मामले में कोई नया घटनाक्रम नहीं हुआ है और उन्हें हिरासत में रखने से जांच का कोई उद्देश्य पूरा नहीं हो रहा है। सीबीआई के वकीलों ने जमानत याचिका का विरोध किया और उनकी न्यायिक हिरासत को बढ़ाने का अनुरोध करते हुए दावा किया कि जांच अभी शुरुआती चरण में है और उन्हें इस समय जमानत पर रिहा करने से जांच की प्रगति बाधित हो सकती है। सीबीआई ने मामले में अपनी जांच के सिलसिले में चटर्जी को भी गिरफ्तार किया था। गौरतलब है कि अपनी कथित करीबी सहयोगी अर्पिता मुखर्जी के फ्लैट से भारी मात्रा में नकदी, आभूषण और संपत्ति के कागजात की बरामदगी के बाद 23 जुलाई को ईडी द्वारा पहली बार गिरफ्तार किए गए चटर्जी को सीबीआई ने अदालत के आदेश पर 16 सितंबर को हिरासत में ले लिया था।
read more