उत्तर प्रदेश में ‘छोटी सरकार’ बनाने के लिए बड़ी-बड़ी तैयारी कर रहे हैं सभी राजनीतिक दल
उत्तर प्रदेश में तमाम राजनैतिक दलों द्वारा ‘छोटी सरकार’ बनाने के लिए बड़े-बड़े दांवपेंच अजमाए जा रहे हैं। भारतीय जनता पार्टी, समाजवादी पार्टी, बहुजन समाज पार्टी के साथ-साथ कांग्रेस भी नगर निकाय चुनाव में अपनी किस्मत का ताला खोलने को बेचैन है। भाजपा नगर निकाय चुनाव में वोटरों को लुभाने के लिए ट्रिपल इंजन की सरकार का दांव खेल रही है। वह वोटरों को समझा रही है कि यूपी में अभी मोदी-योगी की डंबल इंजन की सरकार काम कर रही है, यदि नगर निकाय चुनाव में भी बीजेपी को बहुमत मिल गया तो ट्रिपल इंजन की सरकार और तेजी से काम करेगी।
विभिन्न राजनैतिक दलों की तेजी के चलते राजनीति के तमाम जानकार नगर निकाय चुनाव को 2024 के आम चुनाव का सेमीफाइनल मानने लगे हैं। वहीं मैनपुरी की जीत से उत्साहित समाजवादी पार्टी नये सिरे से चुनाव की रणनीति बना रही है। बसपा भी अपने सिम्बल पर प्रत्याशी तय कर रही है। दूसरी तरफ हाईकोर्ट ने नगर निकाय चुनाव के ऐलान पर 20 दिसंबर तक रोक लगा दी है। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने नगर निकाय चुनाव में सीटों के आरक्षण से संबंधित एक याचिका पर सुनवाई करते हुए यह बड़ा फैसला लिया। इससे पहले हाईकोर्ट ने शुरुआती सुनवाई के दौरान 14 दिसंबर तक की रोक लगाई थी। हाईकोर्ट में इस मुद्दे पर लगातार सुनवाई चल रही है। इसमें ओबीसी आरक्षण को लेकर सरकार की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अपना पक्ष रख रहे हैं। तो दूसरी ओर याचिकाकर्ता ने नगर निगम, नगरपालिका और नगर पंचायतों के ओबीसी आरक्षण को लेकर आपत्ति दर्ज कराई है।
बहरहाल, उत्तर प्रदेश नगर निकाय चुनाव 2022 में भले ही ओबीसी आरक्षण को लेकर हाईकोर्ट में मामला अटक गया हो, लेकिन बीजेपी ही नहीं समाजवादी पार्टी और बसपा में भी अंदरखाने सारी तैयारी चल रही है। बसपा और सपा भी संभावित उम्मीदवारों की सूची तैयार कर रहे हैं जबकि बीजेपी का उम्मीदवारों को लेकर आंतरिक सर्वे 18 दिसंबर तक पूरा हो जाएगा। जबकि बसपा निकाय चुनाव के उम्मीदवारों की घोषणा 20 दिसंबर के बाद करेगी। पार्टी 20 दिसंबर को कोर्ट में निकाय चुनाव की होने वाली सुनवाई में स्थिति स्पष्ट होने का इंतजार कर रही है। इस बीच उम्मीदवारों को अपने-अपने क्षेत्र में रहने के निर्देश दिए गए हैं। वहीं सपा भी निकाय चुनाव को लेकर हाईकोर्ट के फैसले का इंतजार कर रही है।
सपा सूत्रों के मुताबिक, नगर निकाय चुनाव के संभावित उम्मीदवारों के नामों पर अखिलेश यादव लगातार चर्चा कर रहे हैं। अंदरखाने से यह खबर भी आ रही है कि हाइकोर्ट के निर्णय़ के बाद निर्वाचन आयोग की ओर से आचार संहिता लागू होते ही समाजवादी पार्टी लिस्ट जारी करेगी। सपा के निवर्तमान नगर पालिका अध्यक्ष/चेयरमैन का टिकट नहीं काटा जाएगा। समाजवादी पार्टी ने तय किया है कि मौजूदा जीते हुए सभी लोगों को टिकट दिया जाएगा। हारी हुई सीटों और जीतने की संभावित सीटों को लेकर संभावित सूची तैयार की जा रही है। वहीं बीजेपी ने 14 दिसंबर से 5 दिनों का आंतरिक सर्वे शुरू किया है। इसमें सभी नगर निगम और नगरपालिका में बीजेपी के संभावित उम्मीदवारों, मौजूदा नगर निकाय प्रमुख की ताकत-कमजोरी और जनता के बीच उनकी छवि को परखा जा रहा है। ऐसे में 20 दिसंबर को हाईकोर्ट का अगर फैसला आ जाता है तो वो प्रत्याशियों का ऐलान करने में संभवतः दूसरी पार्टियों से आगे निकल जाएगी।
-अजय कुमार
All political parties are ready for uttar pradesh nagar nigam chunav 2022