बिहार अगले साल से सालाना जलपक्षी गणना के लिए एक ई-बर्ड ऐप विकसित कर रहा है जो राज्य में आने वाले प्रवासी पक्षियों को सूचीबद्ध करेगा। पक्षियों की गणना, एशियन वाटरबर्ड सेंसस (एडब्लूसी 2023) का हिस्सा है। मुख्य वन्य प्राणी वार्डन प्रभात कुमार गुप्ता की अध्यक्षता में पक्षी गणना पर प्रारंभिक बैठक का कार्यवृत्त के अनुसार पिछली गिनती के दौरान चयनित की गयी आर्द्रभूमि की सूची पर दोबारा गौर किया जाएगा ताकि अपर्याप्त पक्षी उपस्थिति वाले ऐसे इलाकों को हटाया जा सके और 2023 में जोड़े जा सकें।
गुप्ता ने पीटीआई-को बताया कि एक ई-बर्ड ऐप विकसित करने के अलावा प्रवासी पक्षियों की गिनती रखना प्राथमिक उद्देश्यों में से एक है। बिहार में जिन प्रवासी पक्षियों का झुंड मिलता है, उनमें कॉम्ब डक, रेड-क्रेस्टेड पोचार्ड, गडवाल, गार्गनी, यूरेशियन कूट, नॉर्दर्न पिंटेल, व्हाइट वैगटेल, सिट्रीन वैगटेल, फेर्रुजिनस डक, यूरेशियन केस्ट्रेल, स्ट्राइटेड बैबलर, ग्रेलाग गूज, रूडी शेल्डक, बार हेड गूज, कॉमन सैंडपाइपर, लंबी टांड वाली बज़र्ड, टेम्मिंक्स स्टिंट, लिटिल स्टिंट, पलास्स गूल, स्पॉटेड रेडशैंक, टैगा फ्लाईकैचर और डनलिन शामिल हैं। उन्होंने कहा कि सभी जिलों में सभी औपचारिकताएं पूरी करने और आर्द्रभूमि का पूर्व सर्वेक्षण करने के बाद जलपक्षी की गणना फरवरी 2023 के पहले सप्ताह से शुरू हो जाएगी।
Bird census will be done in bihar in 2023 through e bird app
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