हजारों लोग शुक्रवार को यहां बिरसा मुंडा स्टेडियम में इंग्लैंड और वेल्स के बीच पुरूष हॉकी विश्व कप का शुरूआती मैच देखने पहुंचे जिससे देश में हॉकी का गढ कहे जाने वाले इस स्थान पर खेल का बुखार चढ़ चुका है। भारत के आदिवासी स्वतंत्रता सेनानी के नाम पर रखे गये 21,000 दर्शकों की क्षमता वाले इस स्टेडियम को दुनिया का सबसे बड़ा हॉकी स्टेडियम कहा जा रहा है और राज्य की परंपरा के मुताबिक पूल डी के इस मैच को देखने के लिये दर्शकों की भीड़ उमड़ पड़ी।
ओडिशा के सुंदरगढ़ जिले में राउरकेला सबसे बड़ा शहर है जिसे भारतीय हॉकी का उद्गम स्थान माना जाता है जहां से 60 से ज्यादा अंतरराष्ट्रीय खिलाड़ी (पुरूष और महिला) निकले हैं जिसमें हॉकी इंडिया के मौजूदा अध्यक्ष दिलीप टिर्की भी शामिल हैं। पंजाब के संसारपुर को पहले भारतीय हॉकी की नर्सरी माना जाता था लेकिन हाल के समय में इसमें गिरावट देखने को मिली है। इंग्लैंड और वेल्स के बीच मैच (शाम पांच बजे) देखने के लिये हजारों हॉकी प्रशंसक गेट पर लाइन लगाये खड़े थे जिसमें से कई इस नये नवेले स्टेडियम की झलक पाने और यहां भारत के पहले अंतरराष्ट्रीय मैच को देखने आये थे।
यहां से करीब 150 किलोमीटर दूर झारसुगुडा से आये हेमंता दास ने कहा, ‘‘मैंने कलिंग स्टेडियम में मैच देखे हैं और अब मैं बिरसा मुंडा स्टेडियम में भी वैसा ही अनुभव करने जा रहा हूं। यह स्टेडियम हमारा गौरव है। यहां से कई भारतीय खिलाड़ी निकले हैं जिन्होंने देश में खेल के लिये काफी कुछ किया है। ’’ राउरकेला के एक अन्य प्रशंसक ने कहा, ‘‘मैं उनमें शामिल होना चाहता हूं जिन्होंने इस स्टेडियम में पहला मैच देखा हो इसलिये मैं इंग्लैंड बनाम वेल्स का मैच देखने जा रहा हूं जिसके बाद भारत और स्पेन का मैच देखूंगा। ’’
आयोजकों ने दावा किया है कि सभी यहां 20 मैचों के टिकट बिक्री के लिये खुलने के एक हफ्ते के अंदर ही बिक गये थे। इंग्लैंड बनाम वेल्स मैच के दौरान स्टेडियम दो तिहाई भरा हुआ था। स्टेडियम में विश्व कप से पहले किसी भी सीनियर अंतरराष्ट्रीय टूर्नामेंट की मेजबानी नहीं की गयी है लेकिन सभी 16 प्रतिभागी टीमों के कोच और खिलाड़ियों ने इस स्टेडियम की काफी प्रशंसा की।
Hockey fever hits rourkela first international match held at birsa munda stadium
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