पुरुष डॉक्टरों को नहीं होगी महिलाओं का इलाज करने की इजाजत, तालिबान ने जारी किया नया फरमान
अफगानिस्तान में तालिबानी हुकूमत को सत्ता संभालते हुए साल भर से ज्यादा का वक्त गुजर चुका है। वहां के हालात लगातार सुधरने का नाम नहीं ले रहे हैं। आए दिन अफगानिस्तान में तालिबानी फरमान जारी होते रहते हैं। सितंबर 2021 में उन्होंने केवल लड़कों को स्कूल लौटने की अनुमति दी, अधिकांश किशोर लड़कियों को माध्यमिक विद्यालय से बाहर कर दिया और अफगान महिलाओं को स्वास्थ्य और शिक्षा को छोड़कर अधिकांश क्षेत्रों में काम करने से रोक दिया। अब खबर है कि तालिबान में एक नया फरमान जारी हुआ है कि वहां की महिलाएं पुरुष डॉक्टरों के पास अपना इलाज नहीं करा सकेंगी।
काबुल के एक इलाके में डॉ. सोना (सरनेम नहीं बताया गया) डिप्रेशन से जूझ रही हैं। वह उन लाखों अफगान महिलाओं में से हैं जो अब तालिबान शासित अफगानिस्तान में काम नहीं कर सकती हैं। पिछले साल दिसंबर में डॉ. सोना को काबुल के एक क्लिनिक में नौकरी मिली थी। डॉ सोना को हाल ही में बताया गया था जब उन्होंने अपने रोजगार की स्थिति की अंतिम पुष्टि के लिए क्लिनिक को बुलाया था। यह तालिबान सरकार के नए फैसले से ठीक पहले था, जिसमें अस्पतालों को यह सुनिश्चित करने का निर्देश दिया गया था कि पुरुष डॉक्टरों को अब महिला रोगियों का इलाज करने की अनुमति नहीं है।
तालिबान के इस फैसले के बाद अफगानिस्तान की जर्जर मेडिकल सुविधाओं पर और बुरा असर पड़ेगा। दुनिया के मेडिकल विशेषज्ञों का मानना है कि उसके इस फैसले से अफगानिस्तान में बच्चियों और महिलाओं की मृत्यु दर में बढ़ोतरी होगी। काबुल में काम करने वाली एक डॉक्टर को इस फैसले की वजह से घर बैठना पड़ रहा है।
Male doctors will not be allowed to treat women taliban issues new decree