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मोरबी का वो दर्दनाक मंजर, चारों ओर बिखरी थी लाशें, लालच लील गया 140 लोगों की जान? Morbi Bridge Collapse

मोरबी का वो दर्दनाक मंजर, चारों ओर बिखरी थी लाशें, लालच लील गया 140 लोगों की जान? Morbi Bridge Collapse

मोरबी का वो दर्दनाक मंजर, चारों ओर बिखरी थी लाशें, लालच लील गया 140 लोगों की जान? Morbi Bridge Collapse

कहा जाता है कि मनुष्य की इच्छाओं की कभी पूर्ति नहीं हो सकती। कई बार इंसानी लालच और लापरवाही बहुत जघन्य स्थिति पैदा कर देती हैं। कुछ ऐसा ही हुआ गुजरात के मोरबी शहर में.. जहां सामुहिक लोगों की लालच के कारण 140 लोगों ने अपनी जिंदगी गवां दी। सरकार ने मामले की जांच के आदेश दे दिए हैं लेकिन क्या सरकार उन्हें लौटा सकती है जिसे उनके अपनों से खोया है। जिस वक्त माच्छू नदी पर बना केबल पुल गिरा उस वक्त उस पर किसी का बेटा, किसी की मां, किसी के पिता, पति, पत्नी, बेटी-बहू हर रिश्ते के लोग खड़े थे, और अब इक लालच और लापरवाही ने इस सभी से हमेशा के लिए इनके अपनो को छीन लिया।
 
हादसे के बाद जो जानकारी सामने आयी है वह इस बात की पुष्टि करती है कि 140 लोगों की जान लालच और लापरवाही के कारण गयी है। यह पुल करीब एक सदी पुराना था और मरम्मत एवं नवीनीकरण कार्य के बाद इसे आमजन के लिए पांच दिन पहले ही खोला गया था। सवाल उठ रहा है कि 7 महीनें पहले रिनोवेशन के लिए बंद हुए पुल को बगैर फिटनेस सर्टिफिकेट के क्यों खोला गया? हालांकि खबर है कि कंपनी के खिलाफ FIR दर्ज कर की गई है। मार्च 2022 में मोरबी की ओरेवा ग्रुप (अजंता मेन्युफेक्चरिंग प्राइवेट लिमिटेड) को पुल के रखरखाव का कॉन्ट्रैक्ट दिया गया था।

गुजरात के मोरबी शहर में माच्छू नदी पर बने केबल पुल के टूटने से मरने वालों की संख्या बढ़कर सोमवार को 140 हो गई। गुजरात के गृह राज्य मंत्री हर्ष संघवी ने बताया कि बचावकर्मी दो लोगों की तलाश कर रहे हैं जो लापता बताए जा रहे हैं। उन्होंने पत्रकारों से कहा, ‘‘माच्छू नदी में बचाव अभियान अंतिम चरण में हैं। यह जल्द ही खत्म हो जाएगा। ताजा जानकारी के अनुसार इस हादसे में 132 लोगों की जान चली गयी है तथा दो अब भी लापता हैं।’’ राज्य के सूचना विभाग ने बताया कि राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (एनडीआरएफ) के पांच दल, राज्य आपदा मोचन बल (एसडीआरएफ) के छह दल, वायु सेना का एक दल, सेना की दो टुकड़ियां तथा भारतीय नौसेना के दो दलों के अलावा स्थानीय बचाव दल तलाश अभियान में शामिल हैं। 

तलाश अभियान रात से चल रहा है। यह पुल करीब एक सदी पुराना था और मरम्मत एवं नवीनीकरण कार्य के बाद इसे आमजन के लिए पांच दिन पहले ही खोला गया था। पुल रविवार शाम करीब साढ़े छह बजे टूट गया। सांघवी ने राजधानी गांधीनगर से करीब 300 किलोमीटर दूर मोरबी में पत्रकारों से कहा कि राज्य सरकार ने पुल ढहने की घटना की जांच के लिए एक समिति गठित की है। प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि अंग्रेज़ों के समय का यह ‘‘हैंगिंग ब्रिज’’ जिस समय टूटा, उस समय उस पर कई महिलाएं और बच्चे मौजूद थे। एक प्रत्यक्षदर्शी ने बताया कि कुछ लोगों को पुल पर कूदते और उसके बड़े तारों को खींचते हुए देखा गया। उन्होंने कहा कि हो सकता है कि पुल उस पर ‘‘लोगों की भारी भीड़’’ के कारण टूट कर गिर गया हो। 

एक स्थानीय अस्पताल में लोगों ने भीड़ होने से रोकने तथा एम्बुलेंस के लिए रास्ता साफ करने के लिए मानव श्रृंखला बना ली। सांघवी ने कहा कि पुल ढहने की घटना की जांच के लिए पांच सदस्यीय उच्चाधिकार समिति का गठन किया गया है। इसमें सड़क एवं भवन विभाग के सचिव संदीप वसावा और चार अन्य वरिष्ठ अधिकारी शामिल हैं। उन्होंने बताया कि जो भी इस घटना के लिए जिम्मेदार पाया जाएगा उसके खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 304 (गैर इरादतन हत्या), धारा 308 (इरादतन हत्या) और धारा 114 के तहत प्राथमिकी दर्ज की गयी है। दीपावली की छुट्टी और रविवार होने के कारण पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र रहे इस पुल पर काफी भीड़ थी। एक निजी संचालक ने लगभग छह महीने तक पुल की मरम्मत का काम किया था।

 पुल को 26 अक्टूबर को गुजराती नववर्ष दिवस पर जनता के लिए फिर से खोला गया था। एक अधिकारी ने बताया कि मरम्मत का काम पूरा होने के बाद इसे जनता के लिए खोला गया था लेकिन स्थानीय नगर निकाय ने अभी तक कोई फिटनेस प्रमाणपत्र जारी नहीं किया था। मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल रविवार रात दुर्घटनास्थल पर पहुंचे और उन्होंने सिविल अस्पताल में घायलों से मुलाकात भी की। राज्य सरकार ने इस हादसे में मारे गए लोगों के परिजन को चार-चार लाख रुपए और घायलों को पचास-पचास हजार रुपए का मुआवजा दिए जाने की घोषणा की है।
 
भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के सूत्रों ने बताया कि इस हादसे के बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मेादी ने राज्य विधानसभा चुनाव के मद्देनजर सोमवार को अहमदाबाद में होने वाला अपना रोड शो रद्द कर दिया है। उन्होंने बताया कि मोदी की उपस्थिति में मंगलवार को होने वाले ‘‘पेज कमिटी सम्मेलन’’ को भी रद्द कर दिया गया है। वहीं, कांग्रेस ने कहा कि सोमवार को राज्य के पांच जोन से गुजरने वाली उसकी परिवर्तन संकल्प यात्रा को एक दिन के लिए स्थगित कर दिया गया है।

Painful scene of morbi dead bodies scattered all around greed took the lives of 140 people

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