दूरसंचार क्षेत्र के लिए उपकरण बनाने वाली कंपनियों के एक समूह को पलवल और मथुरा रेलवे स्टेशन के बीच परीक्षण के आधार पर 5जी आधारित मोबाइल संचार नेटवर्क स्थापित करने के लिए भारतीय रेलवे की मंजूरी मिल गई है। वॉयस ऑफ इंडियन कम्युनिकेशन टेक्नोलॉजी एंटरप्राइजेज (वॉयस) के महानिदेशक आर के भटनागर ने यह जानकारी दी। उन्होंने पीटीआई-को बताया कि एसोसिएशन के सदस्य प्रीमियम 700 मेगाहर्ट्ज स्पेक्ट्रम बैंड का इस्तेमाल करेंगे।
भटनागर ने कहा, ‘‘भारतीय रेलवे ने अवधारणा के प्रमाण के रूप में 700 मेगाहर्ट्ज बैंड पर भारतीय रेलवे के पलवल-मथुरा सेक्टर (82 किमी) पर 5जी आधारित मोबाइल संचार नेटवर्क स्थापित करने के लिए वॉयस से पूछा है। इसके लागू करने की अवधि का लक्ष्य नौ से 12 महीने है।’’ वॉयस के सदस्यों में हिमाचल फ्यूचरिस्टिक कम्युनिकेशंस लिमिटेड, दूरसंचार कंसल्टेंट्स इंडिया, सिग्नलट्रॉन, लेखा वायरलेस, कोरल टेलीकॉम, स्पर्श, एस्ट्रोम, डायोटिस जैसी कंपनियां शामिल हैं। इस सफल परीक्षण से एसोसिएशन के सदस्यों को अपने कारोबार को बढ़ाने और भारतीय रेलवे की 59,000 करोड़ रुपये की आधुनिकीकरण योजना का लाभ उठाने में मदद मिलेगी।
Railway nod to telecom equipment companies for 5g trial between palwal mathura
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