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Bollywood Vs South Indian Film | साल 2022 में बॉलीवुड पर भारी रहीं दक्षिण भारतीय फिल्में, कम बजट में भी जीता लोगों का दिल

Bollywood Vs South Indian Film | साल 2022 में  बॉलीवुड पर भारी रहीं दक्षिण भारतीय फिल्में, कम बजट में भी जीता लोगों का दिल

Bollywood Vs South Indian Film | साल 2022 में बॉलीवुड पर भारी रहीं दक्षिण भारतीय फिल्में, कम बजट में भी जीता लोगों का दिल

मुंबई/नयी दिल्ली। आजकल सोशल मीडिया पर कैंसल कल्चर और बॉयकॉट का चलन जोरों पर है। लाल सिंह चड्ढा, रक्षा बंधन, ब्रह्मास्त्र और अन्य कई बड़े बजट वाली फिल्में इंटरनेट उपयोगकर्ताओं के गुस्से और असंतोष का शिकार हो गई हैं। आमिर खान, अक्षय कुमार और शाहरुख खान जैसे सितारे, जिन्होंने दशकों की बेलगाम लोकप्रियता का आनंद लिया है, अचानक हजारों प्रशंसक उनके विरोध में आ गये। अपने बयानों और कमजोर कहानियों के चलते बॉलीवुड अपनी पहचान खोता जा रहा है।

सिनेमा की दुनिया की बात करें तो इस साल हिन्दी फिल्मों पर दक्षिण भारतीय फिल्में भारी रहीं और इसी के साथ ही सभी के जहन में एक सवाल रह गया कि क्या बॉलीवुड मनोरंजन जगत में अपनी पहचान खोता जा रहा है? दक्षिण भारतीय फिल्म ‘आरआरआर’, ‘केजीएफ: चैप्टर 2’ और ‘कांतारा’ को लोगों ने काफी पंसद किया और बॉक्स ऑफिस पर इन फिल्मों की बेहतरीन कमाई ने हिंदी सिनेमा को मुख्यधारा से काफी हद तक बाहर कर दिया। यहां तक कि इस साल हिंदी सिनेमा की सबसे बड़ी हिट रही ‘ब्रह्मास्त्र: पार्ट वन-शिवा’ भी उनकी कमाई का एक अंश मात्र ही कमा पाई।

बॉलीवुड पर भारी रहीं दक्षिण भारतीय फिल्में

वर्ष 2022 जाते-जाते भी दक्षिण भारतीय सिनेमा को गौरवान्वित होने का मौका दे गया। एस. एस. राजामौली की फिल्म ‘आरआरआर’ को गोल्डन ग्लोब में दो श्रेणियों में, पांच क्रिटिक्स च्वाइस अवार्ड के लिए नामित किया गया है। वहीं उसके लोकप्रिय गीत ‘नातु नातु’ को ऑस्कर में सर्वश्रेष्ठ संगीत (ओरिजिनल सॉन्ग) श्रेणी में शॉर्टलिस्ट किया गया है। यह पहला मौका है जब विश्व स्तर पर दक्षिण भारतीय फिल्मों को इतनी सराहना मिल रही है और इससे यह बहस और गंभीर हो गई है कि क्या बॉलीवुड मनोरंजन जगत में अपनी पहचान खोता जा रहा है?

‘वायकॉम18 स्टूडियोज़ पिक्चर्स’ के चीफ ऑपरेटिंग ऑफिसर (सीओओ) अजीत अंधरे ने कहा, ‘‘ मनोरंजन के मामले में आप एक चीज़ बार-बार नहीं कर सकते।’’ अंधरे ने कहा, ‘‘बॉलीवुड फिल्म निर्माताओं को ‘बधाई हो’ जैसी वास्तविक कहानियों और भव्य फिल्मों के बीच संतुलन कायम करने की जरूरत है, जिसमें दक्षिण भारतीय फिल्मों ने महारत हासिल कर ली है।’’ हिंदी सिनेमा की बात करें तो इस साल ‘ब्रह्मास्त्र: पार्ट वन-शिवा’ ने बॉक्स ऑफिस पर करीब 400 करोड़ रुपये की कमाई की, छोटे बजट की फिल्म ‘द कश्मीर फाइल्स’ ने 300 करोड़ रुपये से अधिक, ‘भूल भुलैया 2’ ने 260 करोड़ रुपये और ‘दृश्यम 2’ ने अभी तक 200 करोड़ रुपये की कमाई की है। वहीं दक्षिण भारतीय फिल्म ‘आरआरआर’ और ‘केजीएफ: चैप्टर 2’ ने दुनिया भर में 1200-1200 करोड़ रुपये की कमाई की है।

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कम बजट वाली फिल्मों ने कमाएं करोड़ों

ऋषभ शेट्टी की कन्नड़ की फिल्म ‘कांतारा’ 16 करोड़ रुपये की लागत से बनी। यह भी दर्शकों को अपनी ओर आकर्षित करने में कामयाब रही और सितंबर में रिलीज होने के बाद से दुनिया भर में 500 करोड़ रुपये से अधिक की कमाई कर चुकी है। इसका सीक्वल भी बनाया जा रहा है। आमिर खान की ‘लाल सिंह चड्ढा’ के साथ-साथ अक्षय कुमार की ‘बच्चन पांडे’, ‘राम सेतु’ और ‘सम्राट पृथ्वीराज’ जैसी बॉलीवुड की कई बड़े बजट की फिल्मों को बॉक्स ऑफिस पर निराशा हाथ लगी। हिंदी सिनेमा की साल की आखिरी रिलीज रोहित शेट्टी की ‘सर्कस’ भी बॉक्स ऑफिस पर कोई कमाल नहीं कर पा रही है। सिनेमा के कारोबार के विश्लेषक तरण आदर्श का कहना है कि हर फिल्म जगत ने ऐसे दौर का सामना किया है। आदर्श ने कहा, ‘‘ एक हिट और 10 फ्लॉप। यह फिल्म उद्योग के लिए अच्छा संकेत नहीं है। इस साल काफी कुछ सीखने को मिला, हमें उम्मीद है कि अगले साल हिंदी सिनेमा बेहतर करेगा।’’

तरन आदर्श कमल हासन की ‘विक्रम’, मणिरत्नम की ‘पोन्नियिन सेलवन’ और दुलकर सलमान अभिनीत ‘सीता रामम’ जैसी फिल्मों का जिक्र करते हुए कहा कि दक्षिण भारत की कुछ फिल्मों ने बॉक्स ऑफिस पर बेहतरीन प्रदर्शन नहीं किया, हालांकि उन्हें लोगों ने पसंद किया। वहीं हासन का कहना है कि ‘‘व्यवसायिक दुनिया’’ का सूर्य इन दिनों दक्षिण सिनेमा में उदय हो रहा है। हासन ने हाल ही में एक चर्चा में कहा था,‘‘ हमें उम्मीद है कि हम इसे कायम रख पाएंगे लेकिन हवा का रुख दूसरी ओर भी हो सकता है।’’ ‘पेन स्टूडियोज़’ के जयंतीलाल गडा ने कहा, ‘‘ अभी दक्षिण भारतीय फिल्मों की लहर है। एक समय था जब रजनीकांत, कमल हासन, चिरंजीवी और अन्य काफी लोकप्रिय थे लेकिन फिर चीजें बदल गईं।

हिंदी सिनेमा ने वास्तव में कुछ काफी अच्छी फिल्में बनाई हैं।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ बाद में बॉलीवुड में कलाकारों और अन्य ने अपने दाम बढ़ा लिए क्योंकि वे हिट दे रहे थे लेकिन दक्षिण सिनेमा जगत में ऐसा नहीं हुआ। हालांकि हो सकता है कि दक्षिण सिनेमा में अब ऐसा हो।’’ इन तमाम सवालों के बीच बॉलीवुड प्रेमियों को 2023 में रिलीज होने वाली कई फिल्मों से काफी उम्मीदें हैं। इनमें शाहरुख खान अभिनीत ‘पठान’, सलमान खान की ‘टाइगर 3’ और ‘किसी का भाई किसी की जान’ शामिल हैं।

South indian movies are heavy on bollywood in 2022

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