Article 370 हटने के बावजूद कश्मीर में क्यों बढ़ रहे हैं आतंकी हमले ? क्या नेताओं के पलायन की है जरूरत ?
जम्मू-कश्मीर में हाल ही में बढ़ी आतंकी गतिविधियों के बाद सवाल पूछा जा रहा है कि जब अनुच्छेद 370 हटा दिया गया है तब भी आतंकी वारदातें क्यों नहीं थम रही हैं। प्रभासाक्षी के खास साप्ताहिक कार्यक्रम चाय पर समीक्षा में इसी मुद्दे की समीक्षा की गयी। गौरतलब है कि जम्मू-कश्मीर में जनवरी से अभी तक सुरक्षा बलों ने लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े 26 विदेशी आतंकवादियों को मार गिराया है। माना जा रहा है कि घाटी में स्थानीय आतंकवादियों की संख्या कम होने के बाद विदेशी आतंकवादियों के लिए बिल से बाहर निकलना मजबूरी हो गई है।
प्रभासाक्षी के संपादक ने कहा कि जम्मू-कश्मीर के नेता खाते हिंदुस्तान की हैं लेकिन बात पाकिस्तान की करते हैं और उनकी बातों में पाकिस्तान प्रेम दिखाई देता है। ऐसे में अनुच्छेद 370 को हटाने बस से काम नहीं चलने वाला है इन नेताओं को भी यहां से हटाने की जरूरत है। क्योंकि अनुच्छेद 370 के हटने के बाद से इन नेताओं की दुकान बंद हो गई है। ऐसे में एक-दूसरे के खिलाफ लड़ने वाले यह नेता एकजुट हो गए हैं और अपने गुट को गुपकार का नाम दे दिया है।
इसके साथ ही प्रभासाक्षी के संपादक ने जम्मू-कश्मीर पुलिस की जमकर तारीफ की। उन्होंने कहा कि आतंकवादी मुस्लमानों को निशाना बना रहे हैं, कश्मीरी लोगों पर हमले कर रहे हैं। इसके बावजूद जम्मू-कश्मीर पुलिस के हौसलों में कोई कमी नहीं आई और वो 24वों घंटे मुस्तैद रहते हैं। इसी बीच उन्होंने एक जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवान से हुई बातचीत के बारे में भी जानकारी दी। उन्होंने बताया कि एक दफा पुलिस जवान ने मुझे अपना फोन दिखाते हुए कहा कि देखिए 10 मिनट में मेरे पास 5 बार घर से फोन आ चुके हैं। दरअसल, मेरे घर वाले मेरी खैरियत जानना चाहते हैं कि मैं जिंदा हूं या नहीं। इस तरह का माहौल होने के बावजूद सुरक्षाकर्मी मुस्तैद रहते हैं।
इसी बीच उन्होंने बताया कि आतंकवाद के खिलाफ सुरक्षाबल त्वरित कार्रवाई कर रहे हैं। कश्मीरी पंडित राहुल भट्ट की हत्या के 24 घंटे के भीतर उनकी हत्या में शामिल आतंकवादियों को मार गिराया गया। 48 घंटे के भीतर टीवी अभिनेत्री के हत्यारों को ढेर कर दिया गया और पुलिस अधिकारी की हत्या में शामिल आतंकियों को भी मार गिराया गया है। उन्होंने बताया कि सरकार जम्मू-कश्मीर के लिए बेहतरीन काम कर रही है। चाहे बात कोरोना महामारी के दौरान की हो या फिर उसके बाद की। वहां पर पर्यटन बढ़ा है और कश्मीरी विकास में लगातार सरकार का समर्थन कर रहे हैं।
आपको बता दें कि जम्मू-कश्मीर के निकले हुए युवा को भारतीय क्रिकेट टीम में जगह मिली है। दरअसल, इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) में कश्मीर के तूफान उमरान खान ने 157 किमी प्रतिघंटे की रफ्तार से गेंदबाजी की। जिसके दम पर उनका चयन साउथ अफ्रीका के खिलाफ होने वाली 5 मैचों की टी20 अंतरराष्ट्रीय सीरीज के लिए हुआ। कश्मीर में ऐसा हुनर बहुत ज्यादा है और हर क्षेत्र को निखार रहा है। इसी ऊर्जा और नई ताकत के साथ कश्मीर को और बेहतर बनाने की जिम्मेदारी में युवा डटे हुए हैं।
- अनुराग गुप्ता
Why are terrorist attacks increasing in jk despite the removal of article 370