अमेरिकी राष्ट्रपति बाइडन को पाकिस्तान की सच्चाई इतनी देर से क्यों समझ आई?
अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन को आखिरकार समझ आ गया है कि पाकिस्तान दुनिया का सबसे खतरनाक देश है। दुनिया हैरान है कि अभी कुछ समय पहले पाकिस्तान को करोड़ों डॉलर की मदद देने वाले बाइडन को यह समझ आने में इतना वक्त क्यों लग गया कि दुनिया के खतरनाक देशों में पाकिस्तान शुमार है और उसके पास बिना किसी सुरक्षा के परमाणु हथियार हैं जोकि सबके लिए खतरे की बात है। हम आपको बता दें कि बाइडन ने डेमोक्रेटिक पार्टी की कांग्रेस अभियान समिति के समारोह में पाकिस्तान के बारे में यह बात कही है। लेकिन सवाल यह उठता है कि क्या बाइडन को एक-दो दिन पहले ही पाकिस्तान के खतरनाक देश होने के बारे में पता चला था? यदि इस सवाल का जवाब हाँ है तो यह अमेरिका के खुफिया तंत्र की नाकामी है कि वह अपने राष्ट्रपति को पाकिस्तान के बारे में सही से स्थिति बता नहीं पाये। यदि इस सवाल का जवाब ना है तो बाइडन को बताना चाहिए कि उन्होंने फिर क्यों पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के फैसले को पलट कर पाकिस्तान को मदद मुहैया कराने को मंजूरी दी थी?
जहां तक बाइडन को पाकिस्तान के बारे में हुए ज्ञान की बात है तो आपको बता दें कि उन्होंने विश्व की बदलती भू राजनैतिक स्थिति के संदर्भ में कहा है कि मुझे लगता है कि पाकिस्तान दुनिया के सबसे खतरनाक देशों में से एक है। वैसे बाइडन को भले यह ज्ञान अब हुआ हो लेकिन पश्चिमी देशों ने पाकिस्तान के परमाणु हथियारों की सुरक्षा और संरक्षा को लेकर हमेशा चिंता जताई है। दुनिया भर की हमेशा यह चिंता रही है कि पाकिस्तान के परमाणु हथियार आतंकवादियों या जिहादियों के हाथ में जा सकते हैं।
हम आपको यहां बताना चाहेंगे कि ब्रूकिंग्स में विदेश नीति कार्यक्रम के वरिष्ठ विशेषज्ञ मर्विन काल्ब ने पिछले साल लिखा था कि मई 1998 में पाकिस्तान ने पहला परमाणु परीक्षण किया और यह दावा किया कि राष्ट्रीय सुरक्षा के लिये इसकी जरूरत थी। उसके बाद से अमेरिका के सभी राष्ट्रपतियों को यह भय रहा कि पाकिस्तान के परमाणु हथियार गलत हाथों में पड़ सकते हैं। इसमें अब यह डर भी शामिल है कि अफगानिस्तान में तालिबान की जीत के बाद पाकिस्तान में जिहादी सत्ता हासिल करने की कोशिश कर सकते हैं। यही नहीं, अमेरिका के शीर्ष जनरल मार्क मिले ने भी चेताया था कि अफगानिस्तान से अपनी सेना हटाने की वजह से पाकिस्तान के परमाणु हथियारों की सुरक्षा को खतरा हो सकता है।
बहरहाल, बाइडन पाकिस्तान को खतरनाक मान चुके हैं तो उन्हें अब इस बात पर भी विश्वास कर लेना चाहिए कि पूरी दुनिया में आतंकवाद का सबसे बड़ा स्रोत है पाकिस्तान और पाकिस्तान प्रायोजित इस आतंकवाद का सबसे बड़ा पीड़ित है हिंदुस्तान। इसलिए बाइडन ने पाकिस्तान को एफ-16 लड़ाकू विमान के बेड़े के रखरखाव के लिए 45 करोड़ डॉलर की वित्तीय सहायता को जो मंजूरी दी थी उस फैसले को अब उन्हें पलट देना चाहिए। बाइडन को समझना चाहिए कि पाकिस्तान के लिए मंजूर की गयी 45 करोड़ डॉलर की राशि यदि पूरी की पूरी उसके पास पहुँच गयी तो बाढ़ से जूझ रही पाकिस्तानी आम जनता को मदद पहुँचाने की बजाय यह पाकिस्तान के नेताओं की अय्याशी और पाक सरकार तथा सेना की भारत विरोधी गतिविधियों पर ही खर्च होगी।
हम आपको यह भी बता दें कि पाकिस्तान के बारे में अमेरिका की नीतियों पर भारत लगातार सवाल उठाता रहा है। पाकिस्तान को अमेरिका की हालिया आर्थिक मदद पर भारत ने अमेरिकी सरकार के समक्ष जोरदार तरीके से आपत्ति दर्ज कराई थी। इसके अलावा अभी हाल ही में आस्ट्रेलिया दौरे के दौरान विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने कहा है कि पश्चिमी देशों पर निशाना साधते हुए कहा था कि उन्होंने भारत को हथियारों की आपूर्ति नहीं की, बल्कि हमारे सामने एक सैन्य तानाशाह को अपना पसंदीदा साथी बनाया था।
-नीरज कुमार दुबे
Why did us president biden understand the reality of pakistan for so long