International

वन्यजीव सम्मेलन से शार्क और कछुओं के संरक्षण को बढ़ावा मिला

वन्यजीव सम्मेलन से शार्क और कछुओं के संरक्षण को बढ़ावा मिला

वन्यजीव सम्मेलन से शार्क और कछुओं के संरक्षण को बढ़ावा मिला

अंतरराष्ट्रीय वन्यजीव सम्मेलन में शार्क, कछुओं, छिपकलियों और मेढकों की सुरक्षा के लिए कुछ अहम नियम बनाने की दिशा में कदम उठाये गये। इन जीवों की संख्या उनका व्यापार किये जाने के कारण घटती जा रही है। वन्य जीवों और वनस्पतियों की लुप्तप्राय प्रजातियों के अंतर्राष्ट्रीय व्यापार पर सम्मेलन (सीआईटीईएस) शुक्रवार को पनामा में संपन्न हुआ। संयुक्त राष्ट्र वन्यजीव सम्मेलन ने पांच सौ से अधिक प्रजातियों की सुरक्षा के साथ ही हाथीदांत व्यापार को फिर खोलने के प्रस्ताव को खारिज कर दिया। हाथीदांत व्यापार पर 1989 में पाबंदी लगा दी गयी थी।

वाइल्डलाईफ कंजर्वेशन सोसायटी की अंतरराष्ट्रीय नीति उपाध्यक्ष सुसैन लीबरमैन ने कहा, ‘‘ सीआईटीईएस से अच्छी खबर, वन्यजीव के लिए अच्छी खबर है क्योंकि यह संधि अंतरराष्ट्रीय संरक्षण के स्तंभों में एक है और पुख्ता तौर पर यह सुनिश्चित करेगा कि विभिन्न देश जैविक विविधता विघटन, जलवायु परिवर्तन और महामारियों के वैश्विक अंतर्संबंधित संकटों का मुकाबला करने के लिए एकजुट हों।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ यहां स्वीकार किये गये कई प्रस्ताव यह परिलक्षित करते हैं कि संसाधनों का अत्यधिक दोहन, असंपोषणीय व्यापार एवं अवैध व्यापार हो रहा है तथा उनमें से कुछ की वजह जलवायु परिवर्तन, बीमारी, बुनियादी ढांचा विकास एवं पर्यावास के पहुंचे नुकसान आदि हैं, जिनके फलस्वरूप वन्यजीव प्रजातियों की संख्या घट रही है।’’

वाशिंगटन डीसी में 49 साल पहले स्वीकार की गयी अंतरराष्ट्रीय वन्यजीव व्यापार संधि की हाथीदांत और गैंडों के सींग तथा व्हेल एवं समुद्री कछुओं के अवैध एवं असंपोषणीय व्यापार पर रोकथाम में मदद पहुंचाने को लेकर तारीफ की गयी। लेकिन कुछ सीमाओं के चलते बाद में उसकी आलोचना की गयी। इस साल की सबसे बड़ी उपलब्धियों में एक शार्क की 90 से अधिक प्रजातियों को संरक्षण प्रदान करना है।

Wildlife conference boosts conservation of sharks and turtles

Join Our Newsletter

Lorem ipsum dolor sit amet, consetetur sadipscing elitr, sed diam nonumy eirmod tempor invidunt ut labore et dolore magna aliquyam erat, sed diam voluptua. At vero